न्यूज चक्र। राजस्थान राज्य स्काउट एण्ड गाईड संघ कोटपूतली के द्वारा कोरोना महामारी से बचाव हेतु लोगों को जागरूक करने के लिए जन जाग्रती रथ चलाया जा रहा है। जन जाग्रति रथ द्वारा सोमवार को स्काउट प्रधान मनोज चैधरी कि अगुवाई में व हंसराज यादव, रामबीर यादव के नेतृत्व में बसई, जाहिदपुरा, नांगड़ीवास, हांसियावास, नांगल पण्डितपुरा व सरपंच कृष्ण आर्य की अगुवाई में भालोजी समेत कई गांवों में जागरूकता अभियान को गति प्रदान की गई। ग्रामीणों ने जन जाग्रति रथ का स्वागत किया और स्काउट व गाइड के इस अनुकरणीय प्रयास की प्रशंसा की।
नमस्कार दोस्तों, महापुरुषों की कीर्ति किसी एक युग तक सीमित नहीं रहती। उनका लोक हितकारी चिंतन युगों युगों तक समाज का मार्गदर्शन करता है। ब्लॉगवाणी में आज हम एक ऐसे ही प्रकाश स्तंभ की चर्चा करेंगे, जो ना केवल भारत के स्वतंत्रता संग्राम के सेनानी रहे बल्कि एक सामाजिक कार्यकर्ता भी थे और पूरा देश जिन्हें राष्ट्रीय अध्यापक का सम्मान देता है। जी हां, आज हम बात करेंगे आचार्य विनोबा भावे की। आचार्य विनोबा भावे जिन्हें राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का आध्यात्मिक उत्तराधिकारी भी कहा गया। उनकी आध्यात्मिक चेतना समाज और व्यक्ति से जुड़ी थी, इसी कारण संत स्वभाव के बावजूद उनमें राजनीतिक सक्रियता भी थी। उन्होंने सामाजिक अन्याय और धार्मिक विषमता का मुकाबला करने के लिए देश की जनता को स्वयंसेवी होने का आह्वान किया। उन्होंने देश की जनता के हितों के लिए जो आंदोलन चलाएं वह अपने आप में किसी चमत्कार से कम नहीं है। 1951 की बात है, आजाद हिंदुस्तान को जन्म लिए बस 4 ही साल बीते थे। देश में भयंकर गरीबी थी। लोगों के पास खाने के लिए रोटी नहीं थी। रोटी बनाने के लिए अन्न नहीं था। अन्न उपजाने के लिए जमीन नहीं थ...
टिप्पणियाँ
एक टिप्पणी भेजें